रामनाथ कोविंद जन्मदिन विशेष : 1 अक्टूबर 

रामनाथ कोविंद (Ram Nath Kovind) एक भारतीय राजनीतिज्ञ हैं और भारत के 14वें राष्ट्रपति थे। वे 25 जुलाई, 2017 से 25 जुलाई, 2022 तक भारत के राष्ट्रपति रहे।

रामनाथ कोविंद जन्म 1 अक्टूबर, 1945 को उत्तर प्रदेश के कानपुर जिले के देरापुर गाँव में हुआ था। राम नाथ कोविन्द काउत्तर प्रदेश के कानपुर देहात जिले के परौंख गांव में ब्रिटिश राज के दौरान एक दलित परिवार में मैकू लाल और कलावती के घर हुआ था। उनकी पारिवारिक पृष्ठभूमि अत्यंत विनम्र थी। उनके पिता मैकूलाल एक दुकान चलाते थे और एक किसान और स्थानीय वैद्य भी थे। उनकी मां कलावती एक गृहिणी थीं।

कानूनी कैरियर

उनके पास वाणिज्य में स्नातक की डिग्री और डीएवी कॉलेज (कानपुर विश्वविद्यालय) से एलएलबी है। कानून की डिग्री पूरी करने के बाद, कोविंद सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी के लिए दिल्ली चले गए।

उन्होंने सिविल सेवा परीक्षा उत्तीर्ण की, लेकिन वे सेवाओं में शामिल नहीं हुए और इसके बजाय दिल्ली में वकालत की प्रैक्टिस शुरू कर दी। वे दिल्ली हाई कोर्ट व उच्चतम न्यायालय में वकील रहे। 

राजनीति में प्रवेश

वह 1991 में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हो गए और विभिन्न सामाजिक और राजनीतिक गतिविधियों में शामिल हो गए। कोविंद ने भाजपा में विभिन्न संगठनात्मक पदों पर कार्य किया। पार्टी में उनका ध्यान हाशिए पर मौजूद और वंचित समुदायों के उत्थान से जुड़े मुद्दों पर था।

1994 में कोविन्द उत्तर प्रदेश राज्य से राज्यसभा (भारतीय संसद का ऊपरी सदन) के लिए संसद सदस्य के रूप में चुने गए। उन्होंने 1994 से 2006 तक 12 वर्षों तक लगातार दो बार राज्यसभा में कार्य किया।

गवर्नरशिप

2015 में, राम नाथ कोविंद को भारतीय राज्य बिहार के राज्यपाल के रूप में नियुक्त किया गया, वे जून 2017 तक इस पद पर कार्यरत रहे।

राष्ट्रपति चुनाव

2017 में, राम नाथ कोविंद को सत्तारूढ़ भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) द्वारा राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के रूप में नामित किया गया था।

उन्होंने भारी बहुमत से राष्ट्रपति चुनाव जीता और 25 जुलाई, 2017 को भारत के 14वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ ली।

रामनाथ कोविंद का योगदान और सेवाभाव भारतीय राजनीति में महत्वपूर्ण है, और वे एक आम भारतीय के रूप में उदाहरण हैं कि किसी भी सामाजिक परिस्थिति से आने वाले व्यक्ति भारतीय गणराज्य के सर्वोच्च पद पर पहुँच सकते हैं। उनके नेतृत्व और सेवाभाव को सम्मान और प्रशंसा मिली है, और वे भारतीय राजनीति के महत्वपूर्ण व्यक्तित्वों में से एक हैं।