हमारे समाज में आज भी महिलाओं और पुरुषों के बीच भेदभाव किया जाता है, जिसके तहत अक्सर महिलाओं को कमतर और कमज़ोर आका जाता है। इसी भेदभाव की वजह से हमारे समाज में कुछ कामों को लेकर यह मान लिया जाता है कि इन्हे केवल पुरुष ही कर सकते हैं महिलाएं नही। लेकिन यह सिर्फ एक धारणा है जिसे समाज ने पोषित किया है। ऐसी तमाम धारणाओं को महिलाएं तोड़ने का प्रयास करती हैं और इन्हे तोड़ती भी हैं। आज हम आपको ऐसी ही एक महिला की कहानी बताने जा रहे हैं।
इस महिला का नाम आकांक्षा भार्गव है। आकांक्षा एक एंटरप्रीनियोर है जिन्होंने पैकर्स, मूवर्स और रिलोकेशन नामक बिजनेस कंपनी के जरिए खूब नाम कमाया है।आज आकांक्षा इस कंपनी की सीईओ हैं। इसके लिए उन्हें HZ Womenpreneur CEO Of The Year अवॉर्ड से नवाज़ा गया है।
आकांक्षा की सोच काफी पॉजिटिव है। उनका मानना है कि दुनिया के सभी सेक्टर्स की तरह मोबिलिटी सेक्टर को भी अच्छी और मेहनती महिलाओं की जरूरत है। यही वजह है की आकांक्षा ने न सिर्फ अपने पिता के बिजनेस को संभाला बल्कि इस बिजनेस को बुलंदियों पर ले जाकर स्थापित भी किया है।
उद्यम के क्षेत्र में पुरुषों का बोल बाल काफी ज़्यादा रहा है। बतौर सीईओ आकांक्षा ने इस इंडस्ट्री में अपनी पहचान बनाई है। जब आकांक्षा के पिता ने इस कंपनी की शुरुआत की थी तभी से आकांक्षा इस कंपनी को ऊंचे मुकाम पर पहुंचाने का सपना देखती थी।
उन्होंने अपने पिता को काम करते हुए देखा है। उनका कहना कि उनके सोच और उनके मल्टीटास्किंग होने की वजह से ही वह जीवन में आगे बढ़ पाई हैं। आकांक्षा ने इंटरव्यू के दौरान बताया, "शुरुआती दौर में मुझे एक अंडरडॉग समझा जाता था। लोग समझते थे कि मुझमें क्षमता की कमी है। हालांकि, सेक्टर की डिमांड को पूरा करने के लिए मेरे अंदर जज्बा था। मुझे 16 साल लगे इस मुकाम तक पहुंचने के लिए।"
लाजवाब है अकांक्षा का लीडरशिप मंत्र
आकांक्षा का मानना है कि समय कभी भी हमसे हमारा धैर्य, इच्छाशक्ति और हमारे सपने नही छीन सकता। समय हमे तोड़ सकता है लेकिन हमे रोक नही सकता।
आज के दौर में आकांक्षा भार्गव को रिलोकेशन सर्विस क्वीन ऑफ इंडिया माना जाता है। उनकी लीडरशिप के तहत उन्होंने 2020 में 54 करोड़ का टर्नओवर पूरा किया था। 2021 में ये बढ़कर 134 करोड़ हो गया और 2022 में उनकी कंपनी ने आसमान छू लिया।
आकांक्षा को 2020 में व्हाइट पेज इंटरनेशनल की तरफ से "India's Most Inspirational Leaders" का अवॉर्ड मिल चुका है। 2020 में ही उन्हें "The Extraordinaire - Powerful Women Achiever" से सम्मानित किया गया था। इसके अलावा आकांक्षा का नाम कई बिजनेस मैगजीन्स में भी आ चुका है।
आकांक्षा ने अपनी कंपनी को 700 लोगों के परिवार के रूप में स्थापित किया है। लोगों की मदद करना उन्हे बहुत अच्छा लगता है। आकांक्षा नेशनल ही भी इंटरनेशनल मूविंग में भी लोगों की मदद करती हैं। आकांक्षा अपनी कंपनी को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नई बुलंदियों पर लेकर जाना चाहती हैं।