भारत और संयुक्त अरब अमीरात (UAE) के बीच परमाणु ऊर्जा, पेट्रोलियम भंडारण एवं एलएनजी पर सहयोग बढ़ेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अबू धाबी के क्राउन प्रसि शेख खालिद बिन मोहम्मद बिन जाएद अल नाहयान के बीच हैदराबाद हाउस में हुई द्विपक्षीय बैठक में चार अहम समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए गए।
सूत्रों के मुताबिक इस दौरान दोनों के बीच रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने व गाजा के मसले पर भी चचर्चा हुई। इसके अलावा, गुजरात में फूड पार्क विकास पर राज्य सरकार और अबू धाबी डेवलपमेंटल होल्डिंग कंपनी पीजेएससी (एडीक्यू) के बीच समझौता हुआ। प्रिंस ने बाद में राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से भी मुलाकात की। मंगलवार को वे मुंबई में एक बिजनेस फोरम में भाग लेंगे, जहां दोनों देशों के शीर्ष कारोबारी मौजूद होंगे। भारत यूएई का दूसरा सबसे बड़ा बिजनेस पार्टनर है, जबकि यूएई अबू धा कंपनी पीजेएससी (एडीक्यू) के बीच समझौता हुआ।
प्रिंस ने बाद में राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से भी मुलाकात की। मंगलवार को को वे वे मुंबई मुंबई में में एक बिजनेस फोरम में भाग लेंगे, जहां दोनों देशों के शीर्ष कारोबारी मौजूद होंगे। भारत यूएई का दूसरा सबसे बड़ा बिजनेस पार्टनर है, जबकि यूएई अरब देशों में से भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है। इस दशक के अंत तक भारत और यूएई के बीच कुल 100 बिलियन डॉलर का व्यापार होने का अनुमान है।
मोदी से मुलाकात के बाद अबु धाबी के क्राउन प्रिंस ने राजघाट पर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा गांधी की सीख हमें प्रेरणा देती है। उन्होंने यहां अमलतास का पौधा रोपा। राजघाट पर पौधो लगाने वाले वे युएई की तीसरी पीढ़ी के नेता हैं। ऐसा पहली बार हुआ है जहां दादा, पिता और खुद तीनों के लगाए हुए पेड़ को एकसाथ देखा जा सकता है।