यूपी में गैंगस्टरों के एनकाउंटर का सिलसिला जारी है। अतीक और अशरफ के बाद अब अनिल दुजाना का एनकाउंटर किया गया है, जिसे लेकर AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने सवाल उठाएं हैं। कर्नाटक विधानसभा चुनाव को लेकर कोलार में जनसभा को सम्बोधित करते हुए कहा है "मैं एनकाउंटर के खिलाफ था और रहूंगा। जिस तरह अब्बास, अतीक, अशरफ को गोली मारी, आज मैं कह रहा हूँ कि अनिल दुजाना को भी गोली मारना गलत था। एनकाउंटर से कानून का शासन कमजोर होता है। लोगों का संविधान में विश्वास कम होता है। सजा देना कोर्ट का काम है, गोली से किसी को सजा नहीं दी जाती।"
अनिल दुजाना उर्फ़ अनिल नागर मेरठ का कुख्यात गैंगस्टर था, जो गुरुवार को एसटीएफ से हुई मुठभेड़ में मारा गया। दुजाना 10 अप्रैल को जमानत पर बाहर आया था। जेल से बाहर आते ही उसने उन लोगों को धमकाना शुरू कर दिया था जिन्होंने उसके खिलाफ गवाही दी थी। एसटीएफ को इस बात की जानकारी मिली थी कि वह किसी बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में है। इसी जानकारी के बाद उसे ढूढ़ने का सिलसिला जारी था। इसी दौरान यह सूचना मिली की दुजाना स्कोर्पियो गाड़ी में बैठकर अपने गुर्गों से मिलने जा रहा है। इस गाड़ी की घेराबंदी एसटीएफ द्वारा की गई। एसटीएफ की टीम को देखते ही गैंगस्टर ने 15 राउंड फायरिंग की। इसके बाद एसटीएफ ने 6 राउंड जवाबी फायरिंग की, जिसमें वह मारा गया। दुजाना पर दिल्ली और यूपी में 60 से ज़्यादा केस दर्ज हैं।
ओवैसी ने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा है। उन्होंने सवाल उठाते हुए कहा है कि मतदान करते हुए बजरंगबली का नारा लगाना यह कौन सा सेक्यूलरिज्म है? इसी तरह कांग्रेस कर्नाटक के प्रदेश अध्यक्ष डी के शिवकुमार ने कहा है कि कांग्रेस सत्ता में आएगी तो वह और हनुमान मंदिर बनाएंगे। अगर मैं यहाँ कहूँ कि 10 मई को मतदान करते समय 'अल्लाह हू अकबर' का नारा लगाकर बटन दबाओ, तब मीडिया वाले कहेंगे कि औवेसी उधर लेकर चला गया।