मनोज बाजपेयी: इस फिल्म के लिए मिला था पहला राष्ट्रीय पुरस्कार

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भारतीय फिल्म अभिनेता मनोज बाजपेयी का जन्म 23 अप्रैल, सन् 1969 को हुआ था।  

नरकटियागंज, बिहार से आने वाले मनोज बाजपेयी फिल्मी दुनिया का लोकप्रिय चेहरा बन चुके हैं। अपने दमदार अभिनय की वजह से मनोज बाजपेयी की गिनती अब मंझे हुए कलाकारों में होती है। हिंदी सिनेमा में एक अभिनेता के तौर पर कामयाबी के शिखर पर पहुंचने वाले मनोज बाजपेयी का सपना बचपन से ही एक्टर बनने का था। उन्होंने अपनी मेहनत और लगन से अपना एक्टर बनने का सपना पूरा किया और अपने अभिनय के दम से लोगों के दिल में जगह बनाई। 

मनोज बाजपेयी के बारे में 

नाममनोज बाजपेयी
जन्म तारीख23 अप्रैल सन् 1969 
जन्म स्थान नरकटियागंज, बिहार
पिता का नाम राधाकांत बाजपेयी
माता का नाम गीता देवी
पत्नी का नामशबाना रज़ा 
पेशाएक्टिंग

कैसे पहुंचे बेतिया से मुंबई?

फिल्म जगत में सफल अभिनेता के तौर पर देखे जाने वाले मनोज बाजपेयी का जन्म 23 अप्रैल, सन् 1969 को बिहार के बेतिया शहर के पास बेलवा नाम के एक छोटे से गांव में हुआ था। मनोज बाजपेयी के पिता का नाम राधाकांत बाजपेयी और माता का नाम गीता देवी था। एक इंटरव्यू में मनोज बाजपेयी ने बताया कि उनके माता-पिता ने उनका नाम बॉलीवुड के मशहूर अभिनेता मनोज कुमार के नाम पर रखा था, जो उनके पसंदीदा भी एक्टर थे। मनोज बाजपेयी बताते हैं कि बचपन से ही वह एक्टिंग करना चाहते थे और एक्टर बनने में उनके पिता ने उनका बहुत साथ दिया। अपने पिता की वजह से ही वह मुंबई तक पहुंचे और एक्टर बने।    

मनोज बाजपेयी का फिल्मी करियर 

मनोज बाजपेयी के फिल्मी करियर की बात करें, तो वह हर बार अपनी फिल्म में एक बेहतर अभिनेता के रूप में सामने आये हैं। उन्होंने अपने फिल्मी करियर की शुरुआत साल 1994 में बनी फिल्म ‘बैंडिट क्वीन’ से की थी। इसके बाद वह शूल, फिज़ा, पिंजर, रोड, वीर-ज़ारा, दस कहानियां, जेल, राजनीति, स्पेशल 26, अलीगढ़, ट्रैफिक जैसी फिल्मों में एक से बढ़कर एक भूमिका में नज़र आये।    

इस फिल्म के लिए मिला था पहला राष्ट्रीय पुरस्कार

मनोज बाजपेयी को पद्मश्री, तीन राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार और फिल्मफेयर अवार्ड मिल चुके हैं। मनोज बाजपेयी को पहला राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार साल 1998 में आई राम गोपाल वर्मा की फिल्म ‘सत्या’ के लिए दिया गया था। ये पुरस्कार उन्हें बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर के रोल के लिए साल 2000 में मिला था।

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