क्या है वक़्फ़, वक़्फ़ के पास कहाँ और कितनी संपत्ति है?

क्या है वक़्फ़, वक़्फ़ के पास कहाँ और कितनी संपत्ति है?
panchjanya

वक़्फ़ संशोधन बिल लोकसभा के बाद अब राज्यसभा में भी पास हो गया है। इस बिल का नाम है यूनाइटेड वक़्फ़ मैनेजमेंट एम्पॉवरमेंट, एफ़िशिएंसी एंड डेवलपमेंट एक्ट1995।

नया बिल, 1995 के वक़्फ़ एक्ट को संशोधित करने के लिए लाया गया है।

नए बिल के प्रावधान के अनुसार वही व्यक्ति दान कर सकता है, जिसने लगातार पाँच साल तक इस्लाम का पालन किया हो और दान की जा रही संपत्ति का मालिकाना हक़ रखता हो। नए विधेयक में सर्वे का अधिकार वक़्फ़ कमिश्नर की जगह कलेक्टर को दिया गया है।

सरकार के क़ब्ज़े में वक़्फ़ संपत्ति के विवाद में कलेक्टर का फ़ैसला प्रभावी माना जाएगा। इस बिल के मुताबिक़ वक़्फ़ ट्रिब्यूनल के फ़ैसले को अंतिम नहीं माना जाएगा।

क्या है प्रतिक्रिया

इन सभी प्रावधानों पर मुस्लिम संगठनों और विपक्ष के ऐतराज़ के बावजूद ये संशोधन विधेयक लोकसभा में पास हो गया है। विपक्ष ने इस बिल को ग़ैर संवैधानिक बताया है।

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर लिखा, “ये संविधान पर हमला है। आज मुसलमान निशाने पर हैं कल कोई और समाज निशाने पर आ सकता है।”

हालाँकि कई मुस्लिम संगठन इस नए संशोधित क़ानून को चुनौती देने की रणनीति बना रहे हैं।

वक़्फ़ संशोधन बिल पर सुप्रीम कोर्ट में वकील फुज़ैल अहमद अय्यूबी का कहना है, “वक़्फ़ की ज़मीन सरकार की नहीं है। बल्कि ये दान की हुई ज़मीन है। जो लोगों ने अपनी ख़ुद की जायदाद से की थी। लेकिन सरकार ऐसा दिखा रही है जैसे वक़्फ़ ने सरकारी ज़मीन पर क़ब्ज़ा कर लिया है।”

इस विधेयक पर लोकसभा में चर्चा के दौरान गृह मंत्री अमित शाह ने विपक्ष पर आरोप लगाते हुए कहा था, “मुझे लगता है कि या तो निर्दोष भाव से या राजनीतिक कारणों से ढेर सारी भ्रांतियाँ सदस्यों के मन में भी हैं और इन्हें फैलाने का प्रयास भी हो रहा है।”

“कुछ लोग ये अफ़वाह फैला रहे हैं कि इस एक्ट से मुस्लिम समुदाय के धार्मिक अधिकारों और उनकी संपत्तियों में दख़ल दिया जाएगा। ये पूरी तरह से ग़लत है और महज अल्पसंख्यकों को डराने की एक साज़िश है, ताकि उन्हें वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल किया जा सके।”

वक़्फ़ के पास कितनी ज़मीन

सरकारी आँकड़ों के मुताबिक़, वक़्फ़ के पास तकरीबन 9.4 लाख एकड़ ज़मीन है। अगर इसकी तुलना रक्षा मंत्रालय और रेलवे से की जाए, तो वक़्फ़ ज़मीन के मामले में भारत में तीसरे नंबर पर है। रक्षा मंत्रालय के पास 17.95 लाख एकड़ भूमि है, तो रेलवे के पास तकरीबन 12 लाख एकड़ ज़मीन है।

यूपीए सरकार ने 2009 में वामसी पोर्टल बनाया था। ये पोर्टल वक़्फ़ की संपत्ति के डेटाबेस के तौर पर काम कर रहा है। सरकार के मुताबिक़ वक़्फ़ के पास 9.4 लाख एकड़ ज़मीन है। इतनी ज़मीन का क्षेत्रफल कुछ राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से ज़्यादा है। गोवा का कुल क्षेत्रफल 9.14 लाख एकड़ (3702 वर्ग किमी) है।

राजधानी दिल्ली का कुल रकबा 3.66 लाख एकड़ (1484 वर्ग किमी) है। वहीं केंद्र शासित दादरा नगर हवेली 1.21 लाख एकड़ में है, जबकि चंडीगढ़ का रकबा तकरीबन 28,000 एकड़ है।

शिया धर्मगुरु कल्बे जव्वाद के मुताबिक़, वक़्फ़ की संपत्ति किसी की व्यक्तिगत मिल्कियत नहीं है। वो सवाल करते हैं कि ये बात कही अन्य जगह लागू क्यों नहीं होती है। वे कहते हैं, “कई मंदिरों में सोने के भंडार हैं। अगर यह सोना रिज़र्व बैंक में चला जाए तो डॉलर की क़ीमत रुपए के बराबर हो जाएगी। क्या सरकार इस तरह का काम कर सकती है?”

किस राज्य में कितनी वक़्फ़ की संपत्ति

S. No.Name of State Waqf BoardNumber of immovable Waqf properties registered on WAMSI Registration Module
1.Andaman & Nicobar Island150
2.Andhra Pradesh10708
3.Assam1616
4.Bihar (Shia)1672
5.Bihar (Sunni)6480
6.Chandigarh34
7.Chhattisgarh2665
8.Dadra and Nagar Haveli32
9.Delhi1047
10.Gujarat30881
11.Haryana23117
12.Himachal Pradesh4494
13.Jharkhand435
14.Jammu & Kashmir32506
15.Karnataka58578
16.Kerala49019
17.Lakshadweep896
18.Madhya Pradesh31342
19.Maharashtra31716
20.Manipur966
21.Meghalaya58
22.Odisha8510
23.Puducherry693
24.Punjab58608
25.Rajasthan24774
26.Tamil Nadu60223
27.Tripura2643
28.Telangana41567
29.Uttar Pradesh(Sunni)199701
30.Uttar Pradesh(Shia)15006
31Uttarakhand5317
32West Bengal80480
Total785934

वामसी पोर्टल के मुताबिक़ वक़्फ़ की 8,72,324 अचल संपत्तियों की पहचान की गई थी और 16,713 चल संपत्ति थी। इनमें 97 फ़ीसदी संपत्तियाँ सिर्फ़ 15 राज्यों में है।

वामसी पोर्टल के मुताबिक़ 58,890 पर अतिक्रमण है, जबकि 4,36,179 के बारे में कोई जानकारी साइट पर उपलब्ध नहीं है। वहीं 13,000 संपत्तियों पर मुक़दमा चल रहा है।

इस पोर्टल के मुताबिक़ वक़्फ़ वाली कुल संपत्तियों में सिर्फ़ 39 फ़ीसदी संपत्तियाँ बिना विवाद वाली हैं। दिल्ली में तकरीबन 123 वक़्फ़ जायदाद को केंद्र सरकार ने अपने अधीन ले लिया था, जो यूपीए सरकार ने वक़्फ़ को वापस किया था। इसको लेकर विवाद जारी है।

9 फरवरी 2022 के अल्पसंख्यक मंत्रालय के आँकड़ों के मुताबिक़ उत्तर प्रदेश में करीब 2,15,000 वक़्फ़ संपत्तियाँ थीं, वहीं पश्चिम बंगाल में तकरीबन 80,480, आंध्र प्रदेश में 10,708, गुजरात में 30,881 संपत्तियाँ वक़्फ़ की हैं। बिहार में इसकी तकरीबन 8,600 संपत्तियाँ हैं।

हालाँकि 2025 में ये आँकड़े बढ़ गए हैं। अकेले उत्तर प्रदेश में अब वक़्फ़ की 2,32,000 संपत्तियाँ हैं।

image 8 क्या है वक़्फ़, वक़्फ़ के पास कहाँ और कितनी संपत्ति है?

मौजूदा आँकड़ों के मुताबिक़, वक़्फ़ की सबसे ज़्यादा संपत्ति क़ब्रिस्तान के नाम दर्ज है, जो तकरीबन 1.5 लाख हैं। वहीं 1.19 लाख मस्जिद के नाम हैं। इमामबाड़ा या आशूरखाना के नाम 17 हज़ार और मदरसों के नाम पर 14 हज़ार संपत्तियाँ हैं। मज़ार और दरगाह तकरीबन 34 हज़ार हैं।

व्यवसाय के महत्व की तकरीबन 1 लाख 13 हज़ार संपत्ति और 92,000 मकान हैं। जबकि क़रीब 1 लाख 40,000 संपत्तियाँ कृषि योग्य भूमि हैं। वक़्फ़ की ज़मीन के मामले पर गृह मंत्री अमित शाह ने कहा था, “1913 से 2013 तक वक़्फ़ बोर्ड की कुल भूमि 18 लाख एकड़ थी, जिनमें 2013 से 2025 के बीच 21 लाख एकड़ भूमि और बढ़ गई।”

“इस 39 लाख एकड़ भूमि में 21 लाख एकड़ भूमि 2013 के बाद की है। लीज़ पर दी गई संपत्तियाँ 20 हज़ार थीं, लेकिन रिकॉर्ड के हिसाब से 2025 में ये संपत्तियाँ शून्य हो गईं। ये संपत्तियाँ बेच दी गईं।”

क्या है वक़्फ़?

image 7 क्या है वक़्फ़, वक़्फ़ के पास कहाँ और कितनी संपत्ति है?

वक़्फ़ एक्ट में दो तरह की संपत्ति का ज़िक्र है। पहला वक़्फ़ अल्लाह के नाम पर होता है यानी ऐसी मिल्कियत (संपत्ति) जिसे अल्लाह को समर्पित कर दिया गया है और जिसका कोई वारिसाना हक़ बाक़ी न बचा हो।

दूसरा वक़्फ़ अलल औलाद है यानी ऐसी वक़्फ़ संपत्ति जिसकी देख-रेख वारिस करेंगे। इस दूसरे प्रकार के वक़्फ़ के बारे में नए बिल में प्रावधान किया गया है। इसमें महिलाओं के विरासत का अधिकार ख़त्म नहीं होना चाहिए।

ऐसी दान की हुई संपत्ति एक बार वक़्फ़ के खाते में आ गई, तो ज़िले का कलेक्टर उसे विधवा महिलाओं या बिना माँ-बाप के बच्चों के कल्याण में इस्तेमाल कर सकेगा। वक़्फ़ कोई भी चल या अचल संपत्ति होती है, जिसे कोई भी व्यक्ति जो इस्लाम को मानता है, अल्लाह के नाम पर या धार्मिक मक़सद या परोपकार के मक़सद से दान करता है।

ये संपत्ति भलाई के मक़सद से समाज की हो जाती है और अल्लाह के सिवा कोई उसका मालिक नहीं होता और ना हो सकता है। वक़्फ़ वेलफ़ेयर फ़ोरम के चेयरमैन जावेद अहमद कहते हैं, “वक़्फ़ एक अरबी शब्द है जिसका मायने होता है ठहरना। जब कोई संपत्ति अल्लाह के नाम से वक़्फ़ कर दी जाती है, तो वो हमेशा-हमेशा के लिए अल्लाह के नाम पर हो जाती है। फिर उसमें कोई बदलाव नहीं हो सकता है। “

भारत के सुप्रीम कोर्ट ने भी जनवरी 1998 में दिए अपने एक फ़ैसले में कहा था कि ‘एक बार जो संपत्ति वक़्फ़ हो जाती है, वो हमेशा वक़्फ़ ही रहती है।’ वक़्फ़ संपत्ति की ख़रीद फ़रोख़्त नहीं की जा सकती है और ना ही इन्हें किसी को हस्तांतरित किया जा सकता है। इस बिल के पक्ष में ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना मुफ़्ती शहाबुद्दीन रज़वी बरेलवी ने कहा, “इस संशोधन के माध्यम से केंद्र सरकार वक़्फ़ बोर्ड की संपत्ति के मामले में होने वाली मनमानी को रोकेगी। इससे भू माफ़ियाओं की मिलीभगत से होने वाली वक़्फ़ की संपत्ति को बेचने या लीज़ पर देने के कारोबार पर लगाम लगेगी।”

हालांकि लोकसभा में बुधवार को इस विधेयक पर चर्चा के दौरान सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच जमकर बहस हुई।

कांग्रेस, एसपी, टीएमसी समेत इंडिया गठबंधन के दलों ने इस बिल का विरोध किया। वहीं बीजेपी के सहयोगी दलों जेडीयू और टीडीपी ने इस बिल का समर्थन किया। वक़्फ़ संशोधन विधेयक लोकसभा में पेश करते हुए किरेन रिजिजू ने कहा था कि सरकार मस्जिदों के प्रबंधन या धार्मिक क्रियाकलापों में कोई हस्तक्षेप नहीं करेगी।

ये भी पढ़ें

Total
0
Shares
Leave a Reply
Previous Post
छत्रपति शिवाजी महाराज - Chhatrapati Shivaji Maharaj

छत्रपति शिवाजी महाराज – Chhatrapati Shivaji Maharaj

Next Post
भारतीय अभिनेता, हरदिल अज़ीज़ मनोज कुमार का निधन

भारतीय अभिनेता, हरदिल अज़ीज़ मनोज कुमार का निधन

Related Posts
Total
0
Share