फुटबॉल की दुनिया के बाज़ीगर – लियोनेल मेसी

फुटबॉल की दुनिया के बाज़ीगर - लिओनेल मेसी
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Lionel Messi

“अगर आप गरीब पैदा होते हैं तो यह आपकी गलती नहीं है लेकिन आप गरीब ही मर जाते हैं तो ये आपकी गलती है।” फुटबॉल की दुनिया के महानतम खिलाड़ी लियोनेल मेसी और उनके खेल को देखकर ऐसा प्रतीत होता है मानो बिल गेट्स (Bill Gates) के इस कथन को उन्होंने अपने जीवन का एहम हिस्सा बनाया है। आज शायद ही कोई ऐसा व्यक्यि होगा जिसने फुटबॉल के मैदान से इस नाम की गूंज को ना सुना हो।

24 जून 1987 को अर्जेंटीना (Argentina) के बड़े शहर रोजारियो (Rosario) के मिडिल क्लास परिवार में लियोनेल आंद्रेस मेसी (Lionel Andrés Messi) यानी लियोनेल मेसी का जन्म हुआ। ये वो दौर था जब अर्जेंटीना में लोकतंत्र पूरी तरह से काबिज़ हो चुका था। इससे पहले अर्जेंटीना ने कई आर्थिक और राजनीतिक संकटों का सामना करने के साथ ही 6 बार तख्तापलट के दंश को भी झेला। इसके बाद 1983 से लोकतंत्र की बहाली की शरुआत हुई। जिसके बाद अर्जेंटीना के हालातों में भी सुधार आया।

फुटबॉल की दुनिया में मेसी का पहला कदम
परिवार का भरण पोषण करने के लिए लियोनेल मेसी के पिता फैक्टरी में काम करते थे और उनकी माँ सफाई का काम करते थीं। उनके पिता एक क्लब को फुटबॉल की कोचिंग देने का काम भी करते थे जिसके चलते उनके घर में पहले से ही फुटबॉल खेलने का माहौल था। इस माहौल के चलते वह महज़ 5 साल की उम्र में फुटबॉल क्लब से जुड़ गए थे। इस क्लब से जुड़ने के बाद मेसी ने इस खेल का सारा बेसिक सीखा और फिर 8 साल की उम्र में उन्होंने अपना क्लब चेंज करके न्यूवैल ओल्ड बॉयज़ क्लब (New whale Old Boys Club) ज्वाइन किया।

messi childhood फुटबॉल की दुनिया के बाज़ीगर - लियोनेल मेसी
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बीमारी के बाद का सफर
महज़ 11 साल की उम्र में मेसी को ग्रोथ हार्मोन डेफिसिएंसी (Growth Harmone Deficiency)नाम की बीमारी का पता चला। इस बीमारी का असर यदि मेसी पर होता तो शायद आज दुनिया फुटबॉल के एक बेहतरीन प्लेयर से नहीं मिल पाती। मेसी की इस बीमारी का इलाज कराने के लिए उनके परिवार के पास पैसे नही थे। यदि इसका अधिक असर मेसी के शरीर पर होता तो मेसी बौने रह जाते।

फुटबॉल ने बदली मेसी की किस्मत
यह कहना गलत नहीं होगा कि फुटबॉल का मेसी की किस्मत बदलने में बड़ा योगदान रहा है। अपनी बीमारी के दौरान एक फुटबॉलर के रूप में मेसी की ग्रोथ जारी रही। इस बीच रिवर प्लेट (River Plate) ने मेसी को अपने साथ रखने की हामी भरी। लेकिन वह मेसी की दवाइयों का खर्च नहीं उठा सकते थे। इसके बाद मेसी की किस्मत ने उनका साथ दिया।

उस समय फुटबॉल क्लब बार्सिलोना की निगाहें ऐसे छोटे बच्चों पर थी जो फुटबॉल के खेल में कमाल का प्रदर्शन कर रहे थे। इसके लिए तमाम स्कूलों, कॉलेजों और अलग-अलग क्लबों में टैलेंट हंट (Talent Hunt) का आयोजन किया गया। इस दौरान बार्सिलोना फुटबॉल क्लब (Barcelona Football Club) के स्पोर्टिंग डायरेक्टर कार्ल्स रैज़ैक (Carles Rexach) को मेसी की बीमारी के बारे में पता चला। उन्होंने मेसी को साइन किया और साथ ही उनकी बीमारी और दवाइयों का खर्च उठाने की ज़िम्मेदारी भी ली। लेकिन इस दौरान मेसी के सामने अर्जेंटीना से बार्सिलोना की टीम में शिफ्ट होने की शर्त रखी गई। बार्सिलोना की बी टीम में चुने जाने के बाद मेसी ने लगभग हर मैच में एक गोल किया। छोटी फुटबॉल लीग्स में मेसी कमाल का प्रदर्शन कर रहे थे।

17 साल की उम्र में किया डेब्यू
मेसी ने महज़ 17 साल की उम्र में वर्ष 2004 – 2005 में बार्सिलोना क्लब के लिए अपना डेब्यू किया। वह तीसरे सबसे युवा खिलाड़ी बने। 1 मई 2005 को लियोनेल मेसी ने सीनियर टीम के लिए अपना पहला गोल दागा। 24 जून को मेसी ने बतौर सीनियर प्लेयर बार्सिलोना फुटबॉल टीम के साथ कांटेक्ट साइन किया। इसके बाद मेसी ने पीछे मुड़ कर नहीं देखा।

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क्यों कहा एफ सी बार्सिलोना के क्लब को अलविदा ?
जब मेसी 13 साल के थे तब से उन्होंने बार्सिलोना के फुटबॉल क्लब में खेलना शुरु किया। उनका और एफसी बार्सिलोना के क्लब का साथ 21 साल पुराना था। जिसके बाद मेसी को इसे छोड़ना पड़ा। दरअसल मेसी और एफसी बार्सिलोना फुटबॉल क्लब (FC BarcelonaFootball Club) के बीच एक कांटेक्ट हुआ था जो कि 21 साल बाद समाप्त हो गया। मेसी इस क्लब को छोड़ना नहीं चाहते थे। यहाँ तक कि उन्होंने इसके लिए अपनी फीस आधी करने की बात भी कही थी। लेकिन इससे भी कोई बात नही बन पाई और उन्हें ये फुटबॉल क्लब छोड़ना ही पड़ा। इसके बाद उन्होंने अर्जेंटीना की टीम में धुआं धार प्रदर्शन किया।

वर्ल्ड कप (World cup) और मेसी
मेसी के जीवन में विश्व कप खेलने की शुरुआत वर्ष 2006 से हुई। मेसी अब तक सबसे ज़्यादा 25 मैच खेल चुके हैं। विश्वकप के इतिहास में वह अब तक 11 गोल कर चुके हैं। बार्सिलोना की फुटबॉल टीम में खेलने के दौरान ही मेसी ने फुटबाल की दुनिया के लगभग सभी बड़े खिताबों से अपनी टीम की झोली भर दी थी। फीफा वर्ल्डकप 2022 (FIFA Worldcup 2022) में अर्जेंटीना की जीत में भी मेसी की एहम भूमिका है जिसे इतिहास हमेशा दोहराएगा।

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